
चुनाव प्रचार में फीकी पड़ी वैलेंटाइन डे की खुशी फूल उत्पादकों के सिर पर हाथ
ऑनलाइन डेस्क, 14 फरवरी, 2023। चुनावी सरगर्मी के चलते इस साल वैलेंटाइन डे या लव डे की खुशी कुछ ज्यादा ही फीकी पड़ गई है। हालांकि कुछ लोगों के बीच वैलेंटाइन डे मनाने का रिवाज पूरी तरह से बंद नहीं हुआ है।
प्रेमियों को विभिन्न पार्कों और रेस्तरां में जोड़े में एक दूसरे को गले लगाते और गुलाब के फूल के साथ आनन्दित होते देखा गया है। यह आनंद ऐसा है मानो अतीत के सारे संघर्ष धुल गए हों और अनंत उज्ज्वल भविष्य के रंगीन सपनों को रोशन कर दिया हो।
फूल विक्रेताओं ने बताया कि राजधानी अगरतला शहर के विभिन्न फूल विक्रय केंद्रों में इस वर्ष वैलेंटाइन डे पर फूलों की मांग काफी कम है. सुबह फूलों की दुकानों पर चहल-पहल रही। हालांकि दोपहर बाद से फूल बाजार में थोड़ी मजबूती आई है।
कारोबारियों के मुताबिक इस साल वैलेंटाइन डे पर राजनीतिक सभाओं और जुलूसों के चलते सुरक्षा के मुद्दे को लेकर कई लोग घरों से बाहर नहीं निकले. नतीजतन, फूल व्यापारियों का कारोबार उम्मीद के मुताबिक नहीं रहा।
प्यार शब्द भले ही चार अक्षर का हो लेकिन इसका मतलब काफी इमोशनल होता है। स्नेह से लेकर सम्मान तक सब कुछ इस वलसाबा में समाया हुआ है। प्यार के इस सागर में डुबकी लगाने के लिए हर कोई एक खास दिन का इंतजार करता है।
साल बीतते-बीतते वो दिन फिर आ गया, 14 फरवरी। हर कोई दिन को खूबसूरती से बिताने के लिए तैयार रहता है। किसी के अनुसार प्यार दुनिया की सबसे अच्छी चीज है। कुछ के लिए प्यार ही दुनिया है। यह सच है कि लोग प्यार से ही जीवन का अर्थ ढूंढते हैं।
क्या आप उस व्यक्ति से प्यार कर सकते हैं जिससे आप प्यार करते हैं? क्या आप खोल सकते हैं और कह सकते हैं कि आपके दिमाग में क्या है? दिमाग खोलने के साथ-साथ व्यर्थ प्रेम के लिए भी मुंह खोलना पड़ता है। उन शब्दों को लिखित रूप में कहने की गलती न करें भले ही आप उन्हें मौखिक रूप से न कहें।